पाकिस्तान से तनाव के बीच देश की राजधानी दिल्ली में बैठकों का दौर चल रहा है. खुद प्रधानमंत्री मोदी लगातार एक्शन में हैं और पाकिस्तान पर कार्रवाई का रोडमैप तैयार कर रहे हैं. मंगलवार को जहां उन्होंने तीनों सेना के प्रमुखों के साथ बैठक की तो आज यानी बुधवार को CCS (कैबिनेट कमेटी ऑन सेक्योरिटी) की बैठक की अध्यक्षता की. ये मीटिंग करीब 20 मिनट चली. CCS की बैठक के बाद कैबिनेट की राजनीतिक मामलों की समिति (CCPA) की बैठक हुई.
इन बैठकों के अलावा केंद्रीय कैबिनेट की बैठक हुई. आज कैबिनेट कमेटी ऑन इकोनॉमिक अफेयर्स और केंद्रीय कैबिनेट की भी बैठक होगी. पीएम मोदी इस बैठकों की अध्यक्षता करेंगे. कुछ देर में पीएम मोदी केंद्रीय सचिवों से मुलाकात करेंगे. सूत्रों के मुताबिक ये बैठक हाल में हुए आतंकी हमले के मद्देनजर बुनियादी ढांचे की समीक्षा को लेकर बुलाई गई है. संबंधित सचिवों को निर्देश दिया गया है कि यदि उनसे किसी जानकारी या सहयोग की आवश्यकता हो सकती है तो वे सभी उपस्थित रहें.
CCPA की बैठक के बारे में जानिए
सीसीपीए की बैठक बेहद महत्वपूर्ण मानी जाती है. सीसीपीए कैबिनेट की सबसे महत्वपूर्ण समिति है और और इसकी बैठक कई साल बाद हुई है. सीसीपीए देश के महत्वपूर्ण राजनीतिक और आर्थिक मामलों की समीक्षा करती है और उन पर निर्णय करती है.
इससे पहले भी कई महत्वपूर्ण मौकों पर सीसीपीए की बैठक हो चुकी है. इनमें पुलवामा हमला शामिल है. सीसीपीए मुख्यतः केंद्र और राज्यों के संबंधों पर विचार करती है. ख़ासतौर से तब जबकि आम राय बनानी ज़रूरी हो.
ऐसी आर्थिक नीतियों और आंतरिक सुरक्षा से जुड़े मुद्दों पर चर्चा और फ़ैसले होते हैं जिनके राजनीतिक असर होते हैं. विभिन्न मंत्रालयों के बीच ऐसे मुद्दों पर समन्वय जिनके दूरगामी राजनीतिक परिणाम होते हैं. इनके अलावा सीसीपीए विदेश नीति से जुड़े ऐसे मुद्दों पर भी चर्चा और फैसले करती है जिनका असर देश की राजनीति पर पड़ने की संभावना होती है.
पहलगाम हमले के बाद CCS की दूसरी बैठक
पहलगाम में 22 अप्रैल को आतंकी हमला हुआ था, जिसमें 26 लोगों की जान गई थी. आतंकियों ने नाम और धर्म पूछकर लोगों पर गोलियां बरसाई थीं. मरने वालों में ज्यादातर पर्यटक थे. इस हमले के बाद 23 अप्रैल को CCS की मीटिंग हुई थी. जिसमें पाकिस्तान को लेकर कई फैसले लिए गए थे. इस बैठक की जानकारी देते हुए विदेश मंत्रालय ने कहा था कि पाकिस्तान के साथ सिंधु जल समझौते को स्थगित कर दिया गया है. पाकिस्तानी नागरिकों के वीजा को रद्द कर दिया गया है साथ ही पाकिस्तान के राजनयिक संबंधों में भी कटौती कर दी गई है.