उत्तर प्रदेश के गाजीपुर में एक नेताजी सुर्खियों में बने हुए हैं. उनका नाम पुलिस की दुराचारियों वाली सूची में 54वें नंबर पर है. नेताजी पर पशु तस्करी समते गैंगस्टर के संगीन मामले दर्ज हैं. नेताजी जिले की जमानिया नगर पालिका अध्यक्ष हैं और भारतीय जनता पार्टी से जुड़े हुए हैं. थाने के हिस्ट्रीशीटरों की सूची में दर्ज उनका नाम राजनीतिक गलियारों से लेकर सोशल मीडिया में खूब चर्चा बंटोर रहा है.
थाने में पुलिस विभाग के द्वारा दुराचारी सूची को समय-समय पर अपडेट किया जाता है. इस सूची में उन व्यक्तियों का नाम रहता है, जिनके खिलाफ कोई गंभीर शिकायत या पुलिस रिकॉर्ड दर्ज हो. इस लिस्ट में जमानिया नगर पालिका अध्यक्ष जयप्रकाश गुप्ता का नाम भी दर्ज है. उसपर पशु तस्करी सहित गैंगस्टर के मामले पहले से लगे हुए हैं, जिसके चलते वह कोतवाली के हिस्ट्री शीटर भी है.
दुराचारियों की लिस्ट में 54वें नंबर पर नाम
गाजीपुर का जमानिया नगर पालिका परिषद जहां पर भारतीय जनता पार्टी के जयप्रकाश गुप्ता नगर पालिका अध्यक्ष हैं. इनका ही नाम जमानिया पुलिस के द्वारा जारी किए गए दुराचारियों की सूची में 54 नंबर पर अंकित है. जिसको लेकर इन दोनों जमानिया नगरपालिका परिषद में लोग खूब चटकारे लेकर बातें कर रहे हैं. पुलिस की यह लिस्ट सोशल मीडिया पर वायरल हो रही है. जानकारी के मुताबिक, जमानिया नगर पालिका परिषद चुनाव के पूर्व जयप्रकाश गुप्ता पर पशु तस्करी और तस्करों को पनाह देने का भी आरोप है.
जेल से बाहर आने पर भव्य स्वागत
हिस्ट्रीशीटर जयप्रकाश जेल जा चुका है. जमानत मिलने पर समर्थको ने जयप्रकाश का भव्य स्वागत भी किया. उसके कुछ दिनों बाद ही एक बार फिर इसी मामले में उसपर गैंगस्टर एक्ट के तहत भी कार्रवाई की गई. तभी से जयप्रकाश का नाम जमानिया पुलिस के दुराचारियों वाली लिस्ट में दर्ज है. अभी जब कुछ दिनों पहले जमानिया पुलिस ने उस लिस्ट में संशोधन करते हुए, नया लिस्ट थाने परिसर में लगाया है. इस नई लिस्ट में जयप्रकाश का नाम 54 वे नंबर पर है.
‘उनके ऊपर लगाए गए सभी मुकदमे फर्जी हैं’
गौ तस्करी और गैंगस्टर एक्ट का मुकदमा दर्ज होने के बाद जयप्रकाश गुप्ता को नगर पालिका के चुनाव से पहले स्थानीय लोगों का काफी सपोर्ट मिला. वह बीजेपी से प्रत्याशी बनकर चुनाव जीता. लेकिन जयप्रकाश पर दर्ज मुकदमे आज भी उसका पीछा नहीं छोड़ रहे हैं. इस मामले जयप्रकाश गुप्ता का कहना है कि उनके ऊपर लगाए गए सभी मुकदमे फर्जी हैं. वह आम लोगों की मदद के लिए हमेशा आगे रहे हैं. इसी से चिढ़कर कुछ लोगों ने चुनाव से पूर्व उन पर मुकदमा दर्ज करवाया था. उन्होंने बताया कि उनका परिवार जमानिया इलाके में शाह परिवार के नाम से जाना जाता है.